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निर्भर
निर्भर
by -
vipul chandak
on -
June 20, 2018
उगता हुआ, ढलता हुआ
कभी कभी दोपहर का
पर बादलों के पीछे वाला
सूरज
अच्छा लगता है,,
पलके सिकुड़ती नहीं
भौहें भी संकुचाती नहीं
इसी समय में
आँखे खुद के भरोसे होती है
खुद पर भरोसा करना भी
अच्छा लगता है ..
#निर्झर
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